ऋषिकेश पर्यटन नगरी के नाम से भी प्रसिद्ध है जहां पर देश विदेश से लाखों लोगों का आना जाना लगा रहता है उससे बड़ी बात यह है ऋषिकेश टिहरी और पौड़ी तीनों जिलों के पर्यटक स्थल ऋषिकेश में ही माने जाते हैं उस नजरिए से देखें तो ऋषिकेश बहुत महत्वपूर्ण है ऋषिकेश देहरादून टिहरी पावरी इन तीनों तीनों जिलों को अपने आप में समाहित करके उनको एक बनाता है स्वर्ग आश्रम पौड़ी से मुनी की रेती टिहरी को दो पुल जुड़ा करते थे एक लक्ष्मण झूला पुल दूसरा राम झूला पुल कुछ समय पहले लक्ष्मण झूला पुल यह क्या कर सरकार ने बंद कर दिया इसकी मियाद पूरी हो गई है और यह कभी भी टूट सकता है लेकिन इस पुल के बंद होने से दोनों तरफ के लोगों को बहुत परेशानी का सामना करना पड़ा था हालांकि अभी पैदल मार के लिए उसका इस्तेमाल किया जा रहा है लेकिन पहले दुपहिया वाहन आया जाया करते थे अत्यधिक भीड़ होने पर उसको बंद कर दिया जाता है लेकिन बाहर से आने वाले लोगों को पर्यटकों को और लोकल लोगों को बड़ी परेशानी का सामना करना पड़ता है सरकार दूसरा पुल लक्ष्मण झूला के बगल में बनाने की बात कर रही है उसको बनने में कम से कम 5 से 8 साल लग सकते हैं लेकिन एक ऐसा पुल भी है जो इन दोनों पुलों को राहत पहुंचा सकता है उस फूल का नाम है जानकीपुल जो पिछले 8 सालों से राजनीति की भेंट चढ़ा हुआ था लेकिन लक्ष्मण झूला पुल बंद होने से स्कूल का कार्य तेजी से शुरू हुआ जो अब लगभग 70 से 80 परसेंट तक बन चुका है और कहा जाता है शायद सावन के मेले में कांवड़ यात्रा से पहले यह पुल शुरू कर दिया जाएगा इस पुल के चलने से स्वर्ग आश्रम पौड़ी और मुनि की रेती टिहरी के लोगों को तथा आने वाले पर्यटकों के लिए बहुत सुविधाजनक होगा जब तक सरकार लक्ष्मण झूले का पुल का निर्माण नहीं कराती तब तक यह पुल इन दोनों जगह के लोगों के लिए लाइफ लाइन का काम करेगा बढ़ी उम्मीद लगाकर यहां के लोग इस पुल के बनने की इंतजार में है
देखने वाली बात यह है क्या यह सच में कांवड़ यात्रा तक शुरू हो पाएगा या नहीं यह तो वक्त ही बताएगा लेकिन अगर कोई राजनीति ना हुई तो अपने समय से पूरा होने की उम्मीद है